जश्न …. !!
चाँद भी तारे भी हैं , और चाँदनी मदहोश है ,
हर रात इक जश्न यूँ , मनाये मेरी ज़िन्दगी !
रवि ; दिल्ली : १६ अप्रैल २०१४
चाँद भी तारे भी हैं , और चाँदनी मदहोश है ,
हर रात इक जश्न यूँ , मनाये मेरी ज़िन्दगी !
रवि ; दिल्ली : १६ अप्रैल २०१४
है चमकती धूप और , रोज़ है दिलकश समां ,
दुआओं से हर रोज़ सँवरी , जाये मेरी ज़िन्दगी !
रवि ; दिल्ली : १५ अप्रैल २०१४
दिल के होठों से यूँ मुस्काये मेरी ज़िन्दगी ,
ख़ुद ही साँसों से महक जाये मेरी ज़िन्दगी !
रवि ; दिल्ली : १४ अप्रैल २०१४
ज़िन्दगी में सबकी बस ऐसा ही नूर हो ,
ख़ुशियाँ हों हर साँस में ऐसा सुरूर हो !
रवि ; दिल्ली : १४ मार्च २०१४
तुझको तनहाइयों में सजाते रहे ,
उम्र भर यूँ ही हम गुनगुनाते रहे !
रवि ; दिल्ली : ४ मार्च २०१४
मेरे दिल की , मुझे धड़कन , इतना क्यूँ सताती है ,
जिसे मैं , भूलना चाहूँ , क्यूँ अक्सर याद आती है !
रवि ; दिल्ली : २१ फ़रवरी २०१४
तू ख़्वाबों से तसव्वुर में , आ के मुझ पे छाई है ,
ख़ुदा की कैसी क़ुदरत है , क्या सूरत बनाई है !
रवि ; मुम्बई : १४ फ़रवरी २०१४
कैसे कह दूँ कि , दुनिया बड़ी हरजाई है ,
जबकि पहलू में तेरे , मैंने ख़ुशी पाई है !
रवि ; दिल्ली : २ फ़रवरी २०१४
दुनिया में ये आशिक़ दिल को , समझाने किधर जाये ,
इधर जाये उधर जाये , या फिर यूँ ही मर जाये !
रवि ; दिल्ली : ११ जनवरी २०१४
मेरे मालिक तू मुझको , दुआओं का करम दे दे ,
ग़रीबों के लिये दिल में , तू मेरे रहम दे दे !
रवि ; दिल्ली : ९ जनवरी २०१४
Recent Comments